‘मैं तुम्हारा गला काट दूंगा’, जब ग्लेन मैकग्रा ने बीच मैच में रामनरेश सरवन को दी थी धमकी
Glenn McGrath and Ramnaresh Sarwan Fight: वेस्टइंडीज के क्रिकेटर रामनरेश सरवन को अब तक के सबसे विवादास्पद क्रिकेटर में से एक गिनते हैं। कई किस्से हैं उनके नाम के साथ जुड़े, लेकिन उनमें से कोई भी एंटीगा, 2003 में जो

‘मैं तुम्हारा गला काट दूंगा’, जब ग्लेन मैकग्रा ने बीच मैच में रामनरेश सरवन को दी थी धमकी (Image Source: Twitter)
Glenn McGrath and Ramnaresh Sarwan Fight: वेस्टइंडीज के क्रिकेटर रामनरेश सरवन को अब तक के सबसे विवादास्पद क्रिकेटर में से एक गिनते हैं। कई किस्से हैं उनके नाम के साथ जुड़े, लेकिन उनमें से कोई भी एंटीगा, 2003 में जो हुआ उसका मुकाबला नहीं करता। ग्लेन मैकग्रा के साथ उनका झगड़ा तब तो और बिगड़ गया जब सरवन ने उनकी कैंसर की मरीज (जिसका इलाज चल रहा था) पत्नी के बारे में भद्दा कमेंट कर दिया।
मैच कौन सा था: चौथा टेस्ट, सेंट जॉन्स, 09 - 13 मई, 2003, ऑस्ट्रेलिया का वेस्टइंडीज टूर
ऑस्ट्रेलिया 240 (जस्टिन लैंगर 42, जर्मेन लॉसन 7-78) और 417 (मैथ्यू हेडन 177, जस्टिन लैंगर 111, मर्विन ढिल्लन 4-112)
वेस्टइंडीज 240 (ब्रायन लारा 68, एंडी बिकल 3-53, ब्रेट ली 3-72) और 418-7 (रामनरेश सरवन 105, शिवनारायण चंद्रपॉल 104, ब्रायन लारा 60, ब्रेट ली 4-63)
वेस्टइंडीज 3 विकेट से जीत
मैन ऑफ द मैच एस. चंद्रपॉल
हुआ क्या था : सीरीज के पहले तीन टेस्ट में आस्ट्रेलिया ने (ग्लेन मैकग्रा, पत्नी के बीमार होने के कारण इनमें से पहले दो टेस्ट में नहीं खेले थे) 3-0 की, सीरीज जीतने वाली बढ़त बना ली थी। मैकग्राथ टूर पार्टी में अपनी पत्नी जेन के कहने पर ही शामिल हुए थे क्योंकि कैंसर से बीमार होने के बावजूद वे चाहती थीं कि जिंदगी आम तरीके से चलती रहे।
एंटीगा में आखिरी टेस्ट मैच, टूर की सबसे सही मुकाबले वाली पिच पर खेला गया। दोनों टीमों ने अपनी पहली पारी में 240 रन बनाए (7वीं बार टेस्ट में पहली पारी में बराबर स्कोर का रिकॉर्ड बना)। दूसरी पारी शुरू होने तक पिच आसान होने लगी थी और ऑस्ट्रेलिया ने 417 रन बनाए। वैसे एक समय वे इससे कहीं बड़े स्कोर की उम्मीद कर रहे थे क्योंकि मैथ्यू हेडन (177) और जस्टिन लैंगर (117) ने ही पहले विकेट के लिए 242 रन जोड़ दिए थे। फिर भी, जीत दर्ज करने के लिए वेस्टइंडीज को 418 रन का लक्ष्य मिला। टेस्ट क्रिकेट में जीत के लिए चौथी पारी में इतना बड़ा स्कोर इससे पहले कभी नहीं बना था (मौजूदा रिकॉर्ड 406 रन था, भारत-वेस्टइंडीज, पोर्ट ऑफ स्पेन, 1975-76)।
दो दिन से भी ज्यादा का वक्त था वेस्टइंडीज के पास। जब लारा 165 के स्कोर पर आउट हुए तो सरवन और चंद्रपॉल ने मोर्चा संभाला और धीरे-धीरे ऑस्ट्रेलियाई टीम को बैकफुट पर ले आए। विकेट न गिरने की निराशा में मैकग्रा सबसे ज्यादा परेशान होने लगे और जब सरवन अपने 100 के करीब थे, तो हताश मैकग्रा ने फिजूल में बहस शुरू कर दी। इसी दौरान ऐसे भद्दे कमेंट भी सुनाई दिए :
मैकग्रा - 'ब्रायन लारा के लिंग का स्वाद कैसा है?'
सरवन - 'मुझे नहीं मालूम। अपनी पत्नी से पूछो।'
मैकग्रा - 'अगर तुमने फिर से मेरी पत्नी का जिक्र किया, तो मैं तुम्हारा गला काट दूंगा।'
हर रिपोर्ट में ये तो जिक्र था कि बहस की शुरुआत मैकग्रा ने की थी लेकिन सरवन ने भी आग में घी डालने वाला काम किया। मैकग्रा ने तब अंपायर शेफर्ड की ओर इशारा किया कि इस तमाशे को रोकें पर अंपायर ने भी ऑफिशियल तौर पर कोई एक्शन नहीं लिया। तब तक डेविड शेफर्ड के अलावा, ग्लेन मैकग्रा के साथी क्रिकेटर मैथ्यू हेडन और जस्टिन लैंगर भी उनके सपोर्ट में वहां आ गए। इस झगड़े की वह पिक्चर जिसमें दोनों आपस में बहस करते दिख रहे हैं, क्रिकेट की सबसे ज्यादा छपी पिक्चर में से एक है। जो हुआ उस से, बड़ी बदनामी हुई और दोनों में से किसी भी टीम की प्रतिष्ठा में कोई बढ़ोतरी नहीं हुई। एसीबी और आईसीसी ने कड़े शब्दों में आस्ट्रेलियाई क्रिकेटरों को अपना व्यवहार सुधारने के लिए कहा।
जब स्कोर 288-5 था तो टेस्ट लगभग बराबरी पर था। जैकब्स के आउट होते ही पेंडुलम आस्ट्रेलिया की तरफ झुक गया। अपनी टीम की खराब हालत देख, दर्शकों की भीड़ भड़क गई और ग्राउंड पर बोतलें फेंकना शुरू कर दिया। चंद्रपॉल ने बहरहाल ऑस्ट्रेलिया को रोके रखा और पांचवें दिन वेस्टइंडीज ने ऐतिहासिक जीत दर्ज की।
इसके बाद क्या हुआ: डेनियल लेन (Daniel Lane) ने बाद में अपनी किताब 'लाइन एंड स्ट्रेंथ: द कम्प्लीट स्टोरी (Line and Strength: The Complete Story) में लिखा: ' हालात सामान्य होते तो जैसी क्रिकेट चल रही थी, उस पर मैकग्रा शायद कोई रिएक्शन भी न देते पर घर में जेन के बीमार होने के कारण,वे अपसेट थे और जिस तरह की बातें सुनने को मिलीं, उस से वे गुस्से से लाल हो गए । तभी किसी की हल्की आवाज सुनाई भी दी कि जो हुआ उसे नजरअंदाज करो और आगे खेलो लेकिन अंदर ही अंदर कुछ ऐसा हो रहा था जिससे वे खुद को इस अपमान पर टकराने से रोक नहीं पाए।'
मैकग्रा को भड़कता देख, बाउंड्री के करीब खड़े जेसन गिलेस्पी ने कहा भी- 'हे भगवान, अब क्या होगा? सरवन ने ततैया के छत्ते को छेड़ दिया है।'
लैंगर ने बाद में कहा, 'सरवन को जेन की बीमारी के बारे में कुछ भी मालूम नहीं था और जो कहा इसके लिए उन्हें बड़ा दुःख है। बाद में मैकग्रा और सरवन ने भी एक- दूसरे से माफी मांगी। मैकग्राथ ने मैच के बाद माना, 'जो हुआ वह ऐसा नहीं था कि बस हुआ और फिर खत्म। ये ऐसी बात थी जिसके बारे में मैं सोचता रहता हूं और पिछले कुछ दिनों से मैं इस पर बड़ा परेशान हूं।' उस टेस्ट के बाद जब वनडे सीरीज के लिए एंटीगा से जमैका गए तो फ्लाइट में दोनों साथ-साथ थे।
कुछ साल बाद मैकग्राथ ने कहा - 'ऐसी घटना की यादें कभी नहीं मिटतीं। हम दोनों की लंबाई में फर्क से झगड़ा बड़ा भयानक लग रहा था। मैंने सरवन से बात की और उसने बड़ी अच्छी तरह से जवाब दिए। उसने कहा कि उन्हें नहीं पता था कि जेन बीमार है और जो हुआ उसके लिए फिर से माफी मांगी, लेकिन मैंने कहा कि माफी तो मुझे ही मांगनी चाहिए।'
22 जून 2008 को जेन मैकग्रा का सर्जरी के बाद की दिक्कतों के कारण 42 साल की उम्र में देहांत हो गया। तब तक स्तन, कूल्हे और मस्तिष्क कैंसर हो चुका था उन्हें। उससे पहले, उनके सहयोग से ही ग्लेन ने मैकग्रा फाउंडेशन की स्थापना की और ये फाउंडेशन स्तन कैंसर पीड़ितों की नर्सिंग देखभाल में मदद करता है।
किसे क्या सजा मिली : इस झगड़े के लिए मैच रेफरी माइक प्रॉक्टर ने दोनों में से किसी को भी कोई सजा नहीं दी। उनके नजरिए में शेफर्ड ने सही समय पर बीच में आ, झगड़े को रोक दिया था। उनके इस नजरिए की बड़ी आलोचना हुई। एबीसी के सीईओ जेम्स सदरलैंड ने वॉ को फोन कर अपनी टीम के ग्राउंड पर व्यवहार को कंट्रोल करने को कहा।
मैकग्रा को सामान्य होने में कई दिन लग गए। उन्हें सबसे ज्यादा दुःख इस बात का था कि खुद पर काबू न रख पाए। दोनों खिलाड़ी अब अच्छे दोस्त हैं। इस तरह अब तक के सबसे बेहतरीन टेस्ट मैच में से एक, सबसे भद्दे और खराब कमेंट के विवाद की वजह से बदनाम हुआ।
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